दिमाग को तेज करते हैं ये खास योगासन… मस्तिष्क से जुड़ी समस्या को करते हैं दूर… कई घातक बीमारियों का खतरा भी कम कर सकते हैं…
योग का नियमित अभ्यास तन और मन के स्वास्थ के लिए बहुत फायदेमंद है। हालांकि जिस तरह से हमें अपने शरीर के स्वास्थ को बनाए रखना जरूरी है, ठीक उसी तरह दिमाग के स्वास्थ पर ध्यान देना चाहिए। अगर आप चाहते हैं कि आपका दिमाग स्वस्थ्य रहे और ब्रेन ट्यूमर न हो तो आपको कुछ योगासनों का अभ्यास करना चाहिए। ऐसे कई आसन और प्राणायाम हैं, जो आपको दिमाग की क्षमता और एकाग्रता को बढ़ा सकते हैं और कई घातक बीमारियों का खतरा भी कम कर सकते हैं। आइए जानते हैं दिमाग के स्वास्थ के लिए खास योगासनों के बारे में…
वज्रासन
वज्रासन के अभ्यास से हृदयगति नियंत्रण में रहती है। यह आसन स्ट्रेस हार्मोन ‘कॉर्टिसोल’ को घटाकर तनाव कम करता है। इसके अभ्यास से जांघों और पिंडलियों की नसें-मांसपेशियां मजबूत बनती हैं। वज्रासन का अभ्यास करने के लिए आप फर्श पर दोनों पैरों को को सामने की ओर फैलाकर सीधे बैठ जाएं। अब अपने दोनों हाथों को कुल्हे के पास ले जाकर फर्श पर टिकाएं। इस दौरान एक बात का जरूर ध्यान रखें कि शरीर का पूरा भार हाथों पर न आए। अब अपने दोनों को पैरों को बारी-बारी से मोड़ते हुए कुल्हों के नीचे रखें। सुनिश्चित करें कि दोनों जांघें और पैर के अंगुठे आपस में सटे हों।
भ्रमण प्राणायाम
भ्रमण प्राणायाम एक ब्रीदिंग एक्सरसाइज है, जो मुख्य रूप से सांस लेने-छोड़ने से संबंधित है। इस प्राणायम को करना बहुत ही आसान है। आप टहलते हुए इस प्राणायाम को कर सकते हैं। लने के दौरान शरीर को सीधा रखते हुए सांस धीरे-धीरे लें। अच्छी तरह से गहरी सांस लेने के बाद धीरे-धीरे सांस छोड़ दें। न रहे कि सांस लेने से ज्यादा समय आपको सांस छोड़ते समय लगाना है। सांस को 5 से 7 कदमों के बीच तक अंदर ही रोके कर रखें और फिर धीरे-धीरे सांस को छोड़ें। इस प्रक्रिया को कम से कम 10 बार जरूर दोहराएं। इस प्राणायाम के करने से एकाग्रता, स्मृति और आत्म विश्वास में वृद्धि होती है।
ताड़ासन
ताड़ासन हमारे शरीर की मांसपेशियों को लचीला बनाता है। इस आसन के दौरान गहरी सांस लेने के कारण फेफड़ा फैलता है और इसकी सफाई हो जाती है। ताड़ासन करने से एक्रगता बनी रहती है। यही नहीं, इस आसन को करने से श्वास सतुंलित रहती है। आसान को करने के लिए सबसे पहले आप खड़े हो जाएं। ध्यान रहे कि इस आसान को करते समय कमर और गर्दन झुकनी नहीं चाहिए। अब अपने दोनों हाथों को ऊपर करें और धीरे-धीरे सांस लेते हुए शरीर को खीचें। इस आसान को आप 2-4 मिनट तक करें और फिर सांस छोड़ते हुए धीरे-धीरे सामान्य अवस्था में आ जाएं।